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ग्रामीण अंचल के जोगली में रामलीला का मनमोहक मंचन-गर्मी की तपिस के बावजूद भी रामलीला को देखने ग्रामीणों का उमड़ रहा है सैलाब

ग्रामीण अंचल के जोगली में रामलीला का मनमोहक मंचन-
गर्मी की तपिस के बावजूद भी रामलीला को देखने ग्रामीणों का उमड़ रहा है सैलाब
चिचोली मीडिया :- तहसील क्षेत्र जोगली ग्राम मे जारी रामलीला में 5 वे दिन स्थानीय ग्रामीणों द्वारा रामलीला मंच पर सीताहरण के प्रसंग पर मन मोहक प्रस्तुती दी गई। इस प्रस्तुती को देखकर रामलीला देखने आए ग्राम एवं दूर दराज के ग्रामीण भाव विभोर नजर आये !
जोगली के हौसीलाल घंगारे ने बताया कि, पाचवे दिन रामलीला मंच पर राम वनवास, चित्रकुट मे सीताहरण के प्रसंग का सचित्र चित्रण कर मंचन किया गया !     
रामलीला मंचन का आज अन्तिम- दिन- 
जोगली मे चल रही रामलीला का  आज आखिरी दिन है!अन्तिम दिन राम रावन युद्ध ,श्रीरामजी का राज्याभिषेक होगा । स्वावलम्बी नवयुवक रामलीला समिति के अध्यक्ष तानसेन गाडगे बताते हैं कि, रामलीला मंचन प्रति वर्ष ग्रीष्म कालीन सत्र मे किया जाता आ रहा है। रामलीला मे गाव के लोगों का भी सहयोग मिलता है! बड़ी सख्या मे दर्शक रामलीला देखने आते है। जिससे ग्रामीण कलाकारों मे भी उत्साह बना रहता है !  रामलीला समिति से जुड़े गिरधर वानखेड़े श्याम ठाकुर ने बताया की रामलीला मंचन से गांव के एकता संदेश देते और मर्यादा में रहने की प्रेरणा मिलती है !
इन कलाकारों ने निभाई भूमिका-
जोगली में रामलीला का मंचन स्थानीय ग्रामीण कलाकारों द्वारा किया जाता है जिसमें प्रमुख रूप से "श्रीराम" लीलाधर खोडके "लक्ष्मण" प्रकाश गंगारे "सीता"। गोविन्द वानखेड़े "रावण" हरिओम गंगारे बनते है! इसके आलावा मंडल के सभी कलाकार का सहयोग रहता है!

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